मैं “ द व्यू फ्रॉम माउंट कलवारी “ को पढ़ रहा हूँ और यह विवरण देना प्रारंभ ही नहीं कर सकता कि किस तरह यह मेरे जीवन को प्रभावित कर रहा है ...विश्वास ही नहीं होता कि किसी दूसरी किताब ने कभी मेरे जीवन को इतनी गहराई से प्रभावित किया होगा । मैं इसे पढूंगा और तब तक बारम्बार पढूंगा जब तक प्रभु नहीं आ जाते । यह इस तरह है जैसे की डॉ फिलिप्स के पास पाठक को यीशु के चरणों के पास पहुंचाने , जीवन की और ले जाने की ताकत है एवं गहराई से यह अनुभव प्राप्त करने की , की हमारा ईश्वर हममे से प्रत्येक के लिए , जो उसको आत्मा में गहराई से महसूस करते है , के लिए क्या कर रहा है ।
– जी . जोंस